क्या बिना तलाक की दूसरी शादी है वैध जानिए कानून का सच्चा चेहरा
Bihar politics is once again in the news

क्या बिना तलाक की दूसरी शादी है वैध जानिए कानून का सच्चा चेहरा : बिहार की राजनीति एक बार फिर चर्चा में है, इस बार कारण हैं राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के नेता तेज प्रताप यादव। सोशल मीडिया पर वायरल हुईं उनकी और अनुष्का यादव की कुछ तस्वीरों और वीडियो ने बवाल मचा दिया है। इन तस्वीरों में दोनों काफी करीब नजर आ रहे हैं और एक फोटो में अनुष्का की मांग में सिंदूर भी दिख रहा है। इस घटनाक्रम के बाद लालू प्रसाद यादव ने तेज प्रताप को परिवार और पार्टी से बाहर कर दिया है।
लेकिन असली सवाल यह है कि तेज प्रताप पहले से शादीशुदा हैं और उनकी पहली पत्नी ऐश्वर्या राय यादव से तलाक का मामला कोर्ट में विचाराधीन है। ऐसे में क्या वो बिना तलाक के दूसरी शादी कर सकते हैं?
भारत में बिना तलाक दूसरी शादी कानून की नजर में अपराध
भारतीय कानून के अनुसार, बिना तलाक लिए दूसरी शादी करना अपराध की श्रेणी में आता है। इसे द्विविवाह (Bigamy) कहा जाता है। भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 494 के तहत, अगर कोई व्यक्ति अपनी पहली शादी को कानूनी रूप से खत्म किए बिना दूसरी शादी करता है, तो उसे 7 साल तक की जेल या जुर्माना या दोनों हो सकते हैं।
विभिन्न धर्मों के अनुसार शादी के नियम:
हिंदू विवाह अधिनियम, 1955
हिंदू, सिख, बौद्ध और जैन धर्म के अनुयायियों पर लागू होता है। इसमें पहली शादी खत्म किए बिना दूसरी शादी अवैध मानी जाती है।
मुस्लिम पर्सनल लॉ (शरीयत), 1937
मुस्लिम पुरुष चार शादी कर सकते हैं, लेकिन यदि कोई गैर-मुस्लिम व्यक्ति सिर्फ दूसरी शादी के लिए इस्लाम धर्म अपनाता है, तो वह अवैध माना जाएगा।
क्रिश्चियन मैरिज एक्ट, 1872 और पारसी मैरिज एंड डिवोर्स एक्ट, 1936
इन कानूनों के अंतर्गत भी बिना तलाक दूसरी शादी गैरकानूनी है।
स्पेशल मैरिज एक्ट, 1954
इसमें भी दूसरी शादी से पहले तलाक लेना जरूरी है, अन्यथा वह शादी अमान्य होगी।